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यु॒वं व॑रो सु॒षाम्णे॑ म॒हे तने॑ नासत्या । अवो॑भिर्याथो वृषणा वृषण्वसू ॥

English Transliteration

yuvaṁ varo suṣāmṇe mahe tane nāsatyā | avobhir yātho vṛṣaṇā vṛṣaṇvasū ||

Pad Path

यु॒वम् । व॒रो॒ इति॑ । सु॒ऽसाम्णे॑ । म॒हे । तने॑ । ना॒स॒त्या॒ । अवः॑ऽभिः । या॒थः॒ । वृ॒ष॒णा॒ । वृ॒ष॒ण्व॒सू॒ इति॑ वृषण्ऽवसू ॥ ८.२६.२

Rigveda » Mandal:8» Sukta:26» Mantra:2 | Ashtak:6» Adhyay:2» Varga:26» Mantra:2 | Mandal:8» Anuvak:4» Mantra:2


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SHIV SHANKAR SHARMA

राजा का अन्य कर्त्तव्य कहते हैं।

Word-Meaning: - (नासत्या) हे असत्यरहित (वृषणा) हे प्रजाओं में धनवर्षा करनेवाले (वृषण्वसू) हे वर्षणशीलधनयुक्त राजन् तथा मन्त्रिदल ! (युवम्) आप सब (वरो) श्रेष्ठ पुरुष (सुसाम्ने) सुन्दर गान करनेवाले (महे) महान् (तने) विद्या धनादि विस्तार करनेवाले इत्यादि, इस प्रकार के मनुष्यों के लिये (अवोभिः) पालन के साथ अर्थात् रक्षक सेनाओं के साथ (याथः) यात्रा करते हैं ॥२॥
Connotation: - राजा को उचित है कि अच्छे पुरुषों की रक्षा करे और देश में भ्रमण कर उनकी दशाओं से परिचित हो यथायोग्य प्रबन्ध करे ॥२॥
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SHIV SHANKAR SHARMA

राजकर्त्तव्यतान्तरमाह।

Word-Meaning: - हे नासत्या=हे असत्यरहितौ ! हे वृषणा=हे वृषणौ ! हे वृषण्वसू=हे अश्विनौ ! युवम्=युवाम्। वरो=वरवे=श्रेष्ठाय। सुसाम्ने=शोभनगानकारिणे। महे=महते। तने=तनोतीति तनः=तननाय। अवोभिः=रक्षणैः सह। याथः=गच्छथः ॥२॥