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न॒वा॒नां न॑वती॒नां वि॒षस्य॒ रोपु॑षीणाम्। सर्वा॑सामग्रभं॒ नामा॒रे अ॑स्य॒ योज॑नं हरि॒ष्ठा मधु॑ त्वा मधु॒ला च॑कार ॥

English Transliteration

navānāṁ navatīnāṁ viṣasya ropuṣīṇām | sarvāsām agrabhaṁ nāmāre asya yojanaṁ hariṣṭhā madhu tvā madhulā cakāra ||

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Pad Path

न॒वा॒नाम्। न॒व॒ती॒नाम्। वि॒षस्य॑। रोपु॑षीणाम्। सर्वा॑साम्। अ॒ग्र॒भ॒म्। नाम॑। आ॒रे। अ॒स्य॒। योज॑नम्। ह॒रि॒ऽस्थाः। मधु॑। त्वा॒। म॒धु॒ला। च॒का॒र॒ ॥ १.१९१.१३

Rigveda » Mandal:1» Sukta:191» Mantra:13 | Ashtak:2» Adhyay:5» Varga:16» Mantra:3 | Mandal:1» Anuvak:24» Mantra:13


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SWAMI DAYANAND SARSWATI

फिर विषहरण विषय को अगले मन्त्र में कहा है ।

Word-Meaning: - हे विद्वान् ! जैसे मैं (विषस्य) विष की (सर्वासाम्) सब (रोपुषीणाम्) विमोहन करनेवाली (नवानाम्) नव (नवतीनाम्) नब्बे अर्थात् निन्यानवे विषसम्बन्धी पीड़ा की तरङ्गों का (नाम) नाम (अग्रभम्) लेऊँ और (अस्य) इस विष का (योजनम्) योग (आरे) दूर करता हूँ वैसे हे विषधारिन् (हरिष्ठाः) विष हरने में स्थिर वैद्य ! (त्वा) तुझे (मधु) मधुरता को (चकार) प्राप्त करता है वही इसकी (मधुला) मधुरता को ग्रहण करनेवाली विषहरण विद्या है ॥ १३ ॥
Connotation: - इस मन्त्र में वाचकलुप्तोपमालङ्कार है। हे मनुष्यो ! हम लोग जो यहाँ निन्यानवे प्रकार का विष है उसके नाम, गुण, कर्म और स्वभावों को जानकर उस विष का प्रतिषेध करनेवाली ओषधियों को जान और उनका सेवन कर विषसम्बन्धी रोगों को दूर करें ॥ १३ ॥
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SWAMI DAYANAND SARSWATI

पुनर्विषहरणविषयमाह ।

Anvay:

हे विद्वन्यथाऽहं विषस्य सर्वासां रोपुषीणां नवानां नवतीनां नामाग्रभमस्य योजनमारे करोति। तथा हे विषधारिन् हरिष्ठास्त्वा मधु चकार सैवास्य मधुलास्ति ॥ १३ ॥

Word-Meaning: - (नवानाम्) (नवतीनाम्) (विषस्य) (रोपुषीणाम्) विमोहयन्तीनाम् (सर्वासाम्) (अग्रभम्) गृह्णीयाम् (नाम) संज्ञाम् (आरे) समीपे (अस्य) नाम्नः (योजनम्) (हरिष्ठाः) (मधु) (त्वा) (मधुला) (चकार) ॥ १३ ॥
Connotation: - अत्र वाचकलुप्तोपमालङ्कारः। हे मनुष्या वयं यदत्रैकोनशतप्रकारं विषमस्ति तस्य नामगुणकर्मस्वभावान् विदित्वा तत्प्रतिषेधिका ओषधीर्विज्ञाय सेवित्वा विषरोगान् दूरीकुर्याम ॥ १३ ॥
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MATA SAVITA JOSHI

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Connotation: - या मंत्रात वाचकलुप्तोपमालंकार आहे. हे माणसांनो! येथे नव्याण्णव प्रकारचे विष नाव, गुण, कर्म, स्वभावाने जाणून त्या विषाचा नाश करणाऱ्या औषधी जाणून त्यांचे सेवन करून रोग दूर करावा.